Tuesday, 25 Jul 2023
रानी दुर्गावती गोंडा की रानी थी, पति की मौत के बाद बेटे का मार्गदर्शन करते हुए शासन किया| रानी दुर्गावती ने कई लड़ाईया लड़ी | अकबर के सेनापति असफ खान के खिलाफ रानी का अंतिम युद्ध था, घायल होने पर भी लड़ती रही, आखिर में आत्म समर्पण करने की जगह खुद को खनजर मारके प्राणो का बलिदान दे दिया
रानी ताराबाई छत्रपति शिवजी महाराज की पुत्रवधु थी | औरंगजेब के सेनापति ने कई सालो तक जिंजी किले पर कब्ज़ा करने की कोशिश की लेकिन वह असफल रहा| ताराबाई ने कई सालो तक औरंगजेब से मराठा साम्राज्य को बचाये रखा
रानी लक्ष्मी बाई ने राजा गंगाधर राव की मृत्यु के बाद राज्य को संभाला और दामोदर को गोद लिया| अंग्रेजो ने झाँसी पर कब्ज़ा करने के लिए उनके गोद लिए बेटे को उत्तराधिकारी मानने से मना कर दिया अंग्रेजो के खिलाफ युद्ध लड़ते लड़ते रानी वीरगति को प्राप्त हुई
रानी चेन्नमा ने रानी लक्ष्मी बाई से पहले अंग्रेजो से जमकर लोहा लिया था| पति और बेटे की मृत्यु के बाद उन्होंने राज संभाला तो अंग्रेजो ने उनका राज्य हथियाना चाहा, इस पर रानी ने अंग्रेजो से युद्ध किया बाद में अंग्रेजो ने उन्हें कैद कर लिया
राजकुमारी रत्नावती जैसलमेर के राजा महारावल रतनसिंह की पुत्री थी| राजा ने अपनी पुत्री को किले की सुरक्षा सौप दी थी| इस दौरान अलाउद्दीन खिलजी की सेना ने किले को घेर लिया| राजकुमारी ने बिना घबराये युद्ध का संचालन किया और खिलजी के सेनापति मलिक काफूर सहित 100 सेनिको को बंदी बना लिया
गर्मी में फ्रिज से कई गुना लाभकारी है मटके का पानी, जाने फायदे